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17 से 31 जुलाई तक चलेगा दस्तक अभियान।

 


स्वतंत्रविचार 24 (न्यूज़ डेस्क बलिया) (बलिया ब्यूरो)

विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान आज से।

17 से 31 जुलाई तक चलेगा दस्तक अभियान।

तैयारियों को लेकर जिलाधिकारी ने की बैठक, अभियान को दिया अंतिम रूप।

अभियान में खोजे जायेंगे संभावित क्षय, कुष्ठ, फाइलेरिया समेत बुखार के रोगी।

जौनपुर, (उत्तर प्रदेश)(स्वतंत्रविचार 24) - विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान जिले में एक जुलाई से शुरू होगा और 31 जुलाई तक चलेगा तथा 17 जुलाई से 31 जुलाई तक दस्तक अभियान चलेगा। संचारी अभियान में जागरूकता एवं बचाव के कार्यक्रमों के साथ साफ-सफाई, जलभराव निस्तारण जैसे कार्य किए जाएंगे। ‘दस्तक’ अभियान  17  जुलाई से शुरू होकर 31 जुलाई तक चलेगा। इसमें प्रशिक्षित आशा और आंगनबाड़ी कार्यकर्ता घर-घर जाकर संचारी रोगों से बचाव तथा उपचार के बारे में जानकारी देंगी। इस दौरान संभावित क्षय, कुष्ठ, फाइलेरिया, कालाजार एवं बुखार रोगियों की भी जानकारी प्राप्त की जायेगी। अभियान का शुभारंभ शनिवार (एक जुलाई) को जिला टीबी चिकित्सालय परिसर से किया जाएगा।

       जिलाधिकारी अनुज कुमार झा की अध्यक्षता में गुरुवार को जिला टास्क फोर्स की बैठक आयोजित की गई। जिलाधिकारी ने अभियान की तैयारियों को अंतिम रूप दिया। उन्होंने कहा - आपसी सामंजस्य बनाकर ही संचारी रोगों के नियंत्रण के लिए शुरू हो रहे इस  अभियान को सफल बनाया जा सकता है । यह तभी संभव है जब इस संदर्भ में जिन विभागों को जो भी जिम्मेदारियां दी गयी हैं, उसका पूरी जिम्मेदारी के साथ पालन किया जाये। बैठक में स्वास्थ्य विभाग के अलावा नगर विकास विभाग, पंचायती राज विभाग/ ग्रामीण विकास विभाग, पशुपालन विभाग, बाल विकास एवं पुष्टाहार विभाग, शिक्षा विभाग, दिव्यांगजन सशक्तिकरण विभाग, कृषि एवं सिंचाई विभाग, उद्यान विभाग समेत अभियान में शामिल हो रहे कई अन्य विभागों के अधिकारी मौजूद थे।

      मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) डॉ. लक्ष्मी सिंह ने बताया कि संचारी रोग जैसे डेंगू, मलेरिया, चिकनगुनिया, कालाजार, फाइलेरिया, टीबी, फ्लू, वायरल, कुष्ठ आदि पर प्रभावी नियंत्रण के लिए एक जुलाई से शुरू हो रहे संचारी रोग नियंत्रण अभियान में स्वास्थ्य विभाग की टीम क्षेत्रवार मरीजों के आंकड़ों के आधार पर चिन्हित व हाई रिस्क क्षेत्रों में वेक्टर घनत्व का आंकलन करेगी। साथ ही अधिक मच्छर घनत्व वाले क्षेत्रों में सम्बन्धित विभागों के सहयोग से इस पर प्रभावी अंकुश के लिए प्रयास करेगी। वहीं दस्तक अभियान 17 जुलाई  से शुरू होगा। इसमें आशा व आंगनबाड़ी कार्यकर्ता सर्वे का कार्य करेंगी। अधिक वेक्टर घनत्व वाले स्थानों को चिह्नित कर एक सूची बनाकर पंचायतीराज विभाग व नगर विकास विभाग को देंगी। संबंधित विभाग वहां पर साफ-सफाई, जलजमाव निस्तारण, एंटी लार्वा छिड़काव आदि गतिविधियां कराएंगीं।

       आशा एवं आंगनबाड़ी कार्यकर्ता गृह भ्रमण कर लोगों को संचारी रोगों के खतरे व बचाव की जानकारी देंगी। मच्छरों से बचाव के लिए फुल आस्तीन के कपड़े पहननें, मच्छररोधी क्रीम लगाने, सोते समय मच्छरदानी का प्रयोग करने घर के आस-पास एवं घरों में सात दिन से अधिक समय तक किसी भी बर्तन में पानी जमा न होने देंने, कूलर में भरे पानी एवं फ्रिज के पीछे की ट्रे, गमलों, टूटे हुए टायर, अन्य बर्तनों के पानी को साफ करने के साथ ही घरों के दरवाजों और खिड़कियों में जाली का प्रयोग करने की सलाह दी जाएगी। साथ ही आशा एवं आंगनबाड़ी कार्यकर्ता प्रत्येक  घरों पर क्षय रोग के संभावित लक्षण वाले रोगियों के विषय में भी जानकारी प्राप्त करेंगी। क्षय रोग के लक्षण वाले किसी व्यक्ति की जानकारी होने पर उस व्यक्ति का पूरा विवरण एएनएम के जरिए ब्लाक मुख्यालय पर उपलब्ध कराएंगी।

       एसीएमओ डॉ एसपी मिश्रा ने बताया कि इस अभियान के जरिए संचारी रोगों, दिमागी बुखार से सम्बन्धित संदेश प्रत्येक घर परिवार तक पहुंचाया जायेगा। दस्तक अभियान के जरिए हम लोगों के पास पहुंच कर यह बताने का प्रयास करेंगे कि संचारी रोगों के होने पर क्या करें और क्या न करें। किस तरह की सावधानियां बरते और किसी तरह से तत्काल उपचार करायें। अभियान के दौरान विद्यालयों में अभिभावक-शिक्षक व्हाट्सएप ग्रुप बनाकर संचारी रोगों से बचाव, रोकथाम एवं उपचार के लिए संवेदीकृत किया  जाएगा। साथ ही लोगों को साफ पानी पीने की सलाह दी जाएगी। खुले में शौच से होने वाले नुकसान के बारे में लोगों को समझाया जाएगा।

  उन्होंने बताया कि विगत वर्षों के वेक्टरजनित बीमारियों के मरीजों के आधार पर संचारी रोगों से सम्बन्धित जिले में 153 हॉट स्पॉट बनाये गये हैं। इन स्थानों के लिए विशेष कार्ययोजना बनाकर अभियान चलाया जायेगा। अभियान में 4,000 से अधिक आशा और आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को तैनात किया गया है।

      यूनीसेफ की जिला मोबलाइजेशन समन्वयक (डीएमसी) गुरदीप कौर ने पिछले अभियानों की मॉनिटरिंग के दौरान चिह्नित की गई रिक्तता को साझा करते हुए मॉनिटरिंग फीडबैक के डाटा को दर्शाया। इस अभियान की मॉनिटरिंग विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) और यूनीसेफ करेंगे। बैठक में डब्ल्यूएचओ के सर्विलांस मेडिकल आफिसर (एसएमओ) डॉ अभिजीत जोशे, पाथ की जोनल कोआर्डिनेटर डॉ जसप्रीत कौर भी मौजूद रहे ।