स्वतंत्रविचार 24 (रिपोर्ट :-- ओम प्रकाश वर्मा)
नहर में पानी का अभाव सुखे फसल कैसे होगी दूनी आमदनी।
नगरा (बलिया)। नहर विभाग के उदासीनता के चलते जलापूर्ति ठप होने से किसान परेशान हैं। किसानों को हर सुविधा देकर इनकी आय दोगुनी करने में लगी सरकार की मंशा पर पानी फेरता हुआ क्षेत्र की नहर है जिसमें जलापूर्ति के अभाव के कारण धान की खेती के लिए रोपाई करना भारी मुश्किल का सामना है। डाला गया बेहन के समय से ही पानी की आवश्यक पूरी नहीं हो रही है। सिंचाई मे पानी की आपूर्ति के लिए किसानों के जमीन को चिरता हुआ निकला क्षेत्र का एक मात्र माइनर में वर्षों से जलापूर्ति ठप है। क्षेत्र में खस्ताहाल नलकूपों के संचालन से किसान परेशान हैं। किसानों के खेत के सिंचाई के लिए तीन दशक पूर्व बनी अहिरौला माइनर की खुदाई टेल तक नहीं हो पाने की स्थिति में कभी कभार पानी की आपूर्ति भी होती तो ओमर फरलो से किसानों की दिक्कतें बढ़ जाती है। इस समय खरीफ की मुख्य फसल के लिए धान की रोपाई और खेत की तैयारी में पानी की प्रमुखता से आवश्यकता है। धान की रोपाई तो दूर बेहन भी खेत में सूख रहा है। कहीं किसान मशक्कत से रोपाई भी कर दिए तो पानी के अभाव में फसल भी उगने का नाम नहीं ले रही है। एक मात्र नगरा क्षेत्र में अहिरौला माइनर नहर है जिसमें सफाई का भी अभाव है जिससे अभी तक पानी नहीं आया है। इसकी खुदाई भी टेल तक नहीं है जिससे आपूर्ति भी बाधित होती रहती है। भौगोलिक बनावट की दृष्टि से भी इसकी व्यवस्थित रूप में कोई समतलीकरण नहीं है जिसके कारण जब कभी पानी की आपूर्ति भी होती है तो नहर ओभर फ्लो करके पानी नजदीक के गांवों और खलार के खेतों में जल जमाव हो जाता है जिससे लोगों की परेशानी बढ़ जाती है। अपनी खेती को लेकर चिन्तित क्षेत्र के किसानों ने सिंचाई के लिए सुव्यवस्थित सफाई के साथ पानी छोड़ने के लिए शासन प्रशासन का ध्यान आकृष्ट किया है।
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